न्यायालय के स्थगन आदेशों को दरकिनार रख कर कब्जा दिलाने पहुची तहसीलदार विदुषी सिंह

सुल्तानपुर/ कुड़वार: स्थानीय विकासखण्ड कुड़वार के ग्रामसभा कोटा मेअंकित गुप्ता पत्रकार s/o शी शिव चरन गुप्ता का पुस्तैनी बाग है जिसका मुकदमा अपर आयुक्त आयोध्या में विचाराधीन है पीड़ित शिव चरन का कहना है कि तहसीलदार से लेकर जिलाधिकारी वा उपजिलाधिकारी के समक्ष सारे कागजात प्रस्तुत किए गए और तहसीलदार के सामने तीन बार दिया गया स्थगनादेश की कॉपी ।साथ ही मुकदमा की प्रश्नोत्तरी भी।अंदरखाने की बात यह है कि कुछ सत्ताधारी नेताओ के दबाव के चलते  न्यायालय के मामले में दखल दे रही हैंतहसीलदार सदर!
क्या है मामला
दरअसल मामला यह है कि 1998 में  पीड़ित शिव चरन की बाग चार व्यक्तियों का आवसीय आवंटन हुआ था और आज तक काबिज नही है। जब इसकी सूचना बगीचे स्वामी को हुई तो पट्टा कैंसलेशन का नियमानुसार  मुकदमा दायर कर दिया ।जो नियम में भी है।जिसके सम्बंध में अपर आयुक्त आयोध्या ने उस गटा सं पर स्थगन आदेश दे दिया। जिसकी कॉपी संबंधित अधिकारियों के सामने प्रस्तुत किया गया और जिनका आवंटन हुआ है वो लोग पहले से ही भूमाफिया है ।जिसके शिकायत जिलाधिकारी, मुख्यमंत्री हेल्पलाइन के जरिये भी की गई उस पर तहसीलदार महोदया की नज़र नही पडी।

बागस्वामी घर पर अकेले रहता है और जिसका बेटा प्रदेश की राजधानी लखनऊ में एक राष्ट्रीय दैनिक अखबार व राष्ट्रीय चैनल में भी कार्यरत है। लेकिन बिपछियों की पैसे की खनक के सामने न्यायालय के स्थगन आदेश को दर किनार करते हुए  लाख कोसिस के बाद अपना रंग दिखाने लगी तहसीलदार विदुषी सिंह कानून गो केशरी मिश्रा लेखपाल सईद अहमद दबंगई के साथ कल हरे पेड़ पर आरा चलवा दिया कई हरे पेड़ कटवा डाली जबकि मामला  कोर्ट में विचाराधीन है और कोर्ट का स्थगन आदेश है इस मामले में लेखपाल सईद अहमद और कानून गो केशरी मिश्रा की मुख्य भूमिका पाई जा रही ।

रिपोर्टर: जगन्नाथ मिश्र

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