कुनकुरी में भी मनाया गया करमा त्योहार,,,कुंवारी कन्या करते हैं उपवास,,,करमा कहानी सुन तोड़ते हैं व्रत,,,रात भर करते हैं करम राजा का सेवा,,
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एकादशी करम ग्रामीण क्षेत्रों में विशेष त्योहार के रूप में मानते हैं। इस त्योहार को करम राजा का त्योहार भी कहा जाता है। तीज करम के सुबह एकादशी करमा के लिए कुंवारी लड़कियां जाई जमाते हैं जो ग्यारह दिन में उग जाता है। एकदशी के दिन 12 घण्टे का उपवास कर शाम को गांव, बस्ती में एक जगह गाड़ा जाता है। करम के डगाल को बैगा द्वारा पूजा पाठ कर काट कर लाते हैं।शाम को गांव में उपवास किये कन्याओं को बुजुर्गों के द्वारा करमा का विशेष कहानी सुनाया जाता है।उपवास करता कन्या कहानी सुनकर अपना व्रत तोड़ती हैं।रात भर करमा नाच गान कर करम राजा का सेवा करते हैं।उसके बाद सुबह पुनः पूजा पाठ कर करम राजा को सेरा दिया जाता है।
रिपोर्टर :दीपक वर्मा
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