बिरसा कॉलेज में हिंदी विभाग ने हिंदी दिवस मनाकर हिंदी पखवाड़ा का समापन किया

खूंटी :  इसमें विभिन्न दिन अलग - अलग विद्वानों ने आकर हिंदी भाषा पर अपनी बात कही।।इस अवसर पर हिंदी के प्रख्यात लेखक वाल्टर भेंगरा मौजूद थे।उन्होंने लेखन के लिए बच्चों को प्रेरित किया।साथ ही उन्होंने कहा कि लेखन ही लंबे समय तक बना रहता है।हिंदी के उपयोगितामुलक पक्ष की ओर ध्यान दिलाते हुए उन्होंने बताया कि हिंदी अब विदेशों में भी अत्यधिक बोली जा रही है।कार्यक्रम में कॉलेज की प्रभारी प्राचार्या ने हिंदी के महत्व को बताते हुए बोलचाल में भी उसका गौरव से प्रयोग करने के लिए बच्चों को कहा।उन्होंने विद्यार्थियों को हिंदी साहित्य की पुस्तकों को पढ़ने के लिए प्रेरित किया।उन्होंने व्याकरणिक शुद्धि पर बच्चों को ध्यान देने के लिए कहा।

डॉ सुधांशु शर्मा ने हिंदी के विकासक्रम को संस्कृत से जोड़कर वर्तमान में खड़ी बोली तक के सफर को समझाया। उन्होंने हिंदी के माधुर्य को कविता के माध्यम से बताया।साथ ही हिंदी गद्य के विकास की परिस्थितियों की भी चर्चा की।वहीं प्रो जया भारती कुजूर ने भी हिंदी साहित्य के महत्व को बताकर विभिन्न उपन्यासों की चर्चा की।बताते चलें कि इससे पहले,पूनम माई तिउ, डॉ अभिषेक,प्रो. पुष्पा सुरीन, डॉ सुधांशु, डॉ प्रियंका, डॉ संगीता,राजकुमार गुप्ता आदि विशिष्ट अतिथि के तौर पर अलग - अलग दिन शामिल हुए थे।कार्यक्रम में विद्यार्थियों की भी अहम भूमिका रही।उन्होंने काव्य पाठ और हिंदी के महत्व पर भाषण दिया।जिसमे आकाश कुमार साहू, तबिंदा मिश्कत, मटिल्डा कंडुलना, निम्मी,अस्मिता,रजनी आदि ने कार्यक्रम किए।इस अवसर पर प्रो.चंद्र किशोर भगतप्रो. पुष्पा सुरीन,प्रो. जया भारती कुजूर,पूनम माई तिउ, डॉ संगीता, डॉ नूपुर, डॉ शीला, डॉ संध्या, डॉ अस्मिता सहित कई छात्र - छात्राएं मौजूद थे।

 

रिपोर्टर : शहिद अंसारी 

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