नहाए-खाए से हुआ छठ महापर्व का प्रारंभ महाकाल घाट हुआ गुलजार

प्रयागराज :  सूर्योपासना का महापर्व छठ पर्व मंगलवार से शुरू हो गया। छठ पर्व 2 दिन पहले यानी चतुर्थी से नहाए खाए से आरंभ हो जाता है इसका समापन सप्तमी तिथि को पारण कर किया जाता है व्रती महिलाओं को तीन दिन तक निर्जला रहकर पूजा अर्चना करनी होती है अरैल घाट महाकाल पर छठ पर्व की तैयारियां जोरों पर है जमीन समतल कर यमुना नदी में घाट तैयार कर दिए गए हैं। महाकाल घाट पर व्रती महिलाओं के लिए पूजा करने के लिए समतल घाट बनाये गए है। यह पर्व 4 दिनों तक चलता है इस पर्व में सूर्य देव को अर्ग देने का सबसे ज्यादा महत्व माना गया है पंचमी को खरना गुरुवार षष्टी को डूबते सूर्य को अर्क देकर शुक्रवार सप्तमी को उगते सूर्य को जल अर्पित कर व्रत सम्पन्न होता है। यह व्रत 36 घण्टे का कठिन व्रत होता है। इसको करने से मनोकामना पूर्ण होती है। पूर्वांचल महासमिति अध्यक्ष अरुण यादव संरक्षक दयानंद पांडे धनेश सिंह पप्पू सिंह प्रमोद सिंह उदय सिंह बृजेश व्यास संजय श्रीवास्तव प्रवीण शर्मा हरेंद्र सिंह घाट की साफ सफाई में उपस्थित रहे। 

रिपोर्टर : डीके मिश्रा 

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