बैरिया पुलिस की कार्यशैली सवालों के घेरे में,पीड़ित पर ही फर्जी मुकदमा दर्ज किया

बलिया : बलिया की बैरिया पुलिस का अमानवीय कृत्य एक बार फिर सवालों के घेरे में है। चौकी के दो आरक्षी मनीष गोंड़ व प्रियव्रत गोंड़ ने जनसेवा केंद्र संचालक रोहित गुप्ता की बेरहमी से पिटाई किए किए थे। इस घटना के बाद पूरे जनपद में आक्रोश व्याप्त था। पुलिस अधीक्षक ओमवीर सिंह ने इस मामले का संगठन लिया और दोनों आरक्षियों को निलंबित कर दिया गया था। परंतु आश्चर्यजनक रूप से अब उसी पीड़ित युवक पर पुलिस ने मोबाइल चोरी और फिरौती मांगने का झूठा मुकदमा दर्ज कर दिया है।
आपको बता दें कि यह कोई पहली घटना नहीं है। इससे पूर्व भी बैरिया पुलिस ने अपनी विफलताओं को छुपाने व आरोपियों को बचाने के उद्देश्य से पीड़ित पक्ष के ही दो युवकों जयराम गोंड़ व पवन यादव पर लगभग एक वर्ष पूर्व अलग-अलग मामलों में झूठे मुकदमे दर्ज किए थे।
बैरिया पुलिस की इस अमानवीय कृत्य से स्थानीय जनता और भाजपा कार्यकर्ताओं में गहरा आक्रोश है। जानकारी के अनुसार इस संबंध में भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता, पूर्व जिला पंचायत सदस्य, उत्तर प्रदेश सहकारी ग्राम विकास बैंक के पूर्व चेयरमैन तथा टी.डी. कॉलेज बलिया के पूर्व छात्रसंघ अध्यक्ष परमेश्वर गिरि का कहना है कि यह घटना अत्यंत दुर्भाग्यपूर्ण है। इस मामले को लेकर उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ एवं पुलिस महानिदेशक, उत्तर प्रदेश से मुलाक़ात हेतु समय मांगा गया है।
मुलाकात होने पर समस्त तथ्यों के साथ उन्हें अवगत कराते हुए दोषी पुलिस अधिकारियों पर कड़ी से कड़ी कार्रवाई सुनिश्चित कराई जाएगी, ताकि भविष्य में इस प्रकार की पुनरावृत्ति न हो और आमजन का विश्वास पुलिस प्रशासन में बहाल रह सके।
रिपोर्टर : जे.पी.तिवारी
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