सर्दियों में नहाते वक्त न करे ये गलती, बन सकती हैं डैंड्रफ का प्रमुख कारण

BY CHANCHAL RASTOGI

हर दिन नहाना एक सामान्य लाइफस्टाइल आदत है, लेकिन जब तक आप गंदे या पसीने से तर न हों, तब तक नहाने की कोई विशेष आवश्यकता नहीं है. स्वास्थ्य विशेषज्ञों के अनुसार, नहाने से आपकी त्वचा से प्राकृतिक तेल और बैक्टीरिया निकल जाते हैं, जो त्वचा के लिए फायदेमंद होते हैं. इसलिए अत्यधिक नहाना अच्छा नहीं है. बार-बार नहाने से त्वचा सूखी और खुजलीदार हो सकती है, और इससे खराब बैक्टीरिया भी फटी त्वचा के जरिए शरीर में प्रवेश कर सकते हैं. अपने शरीर को सामान्य गंदगी और बैक्टीरिया के संपर्क में रखने से, यह आपकी इम्युनिटी प्रणाली को मजबूत करने में मदद करता है.

नहाते वक्त ये गलती भूल से भी न करें

एंटीबैक्टीरियल साबुन बहुत ज़्यादा बैक्टीरिया को मार सकते हैं. जिसमें अच्छे किस्म के बैक्टीरिया भी शामिल हैं. इससे एंटीबायोटिक के प्रति प्रतिरोधी खराब बैक्टीरिया त्वचा में प्रवेश कर सकते हैं. कठोर साबुन आपकी त्वचा को रूखा कर सकते हैं. इसलिए अतिरिक्त तेल वाले हल्के साबुन, सौम्य क्लींजर या मॉइस्चराइज़र वाले शॉवर जेल का इस्तेमाल करें. अगर आपको एक्जिमा या संवेदनशील त्वचा है. तो सुगंधित साबुन आपकी त्वचा को परेशान कर सकते हैं. इसके बजाय सुगंध रहित साबुन का इस्तेमाल करें.

सप्ताह में एक बार जरूर धोएं तौलिए 

नम तौलिए बैक्टीरिया, यीस्ट, फफूंद और वायरस के लिए प्रजनन स्थल होते हैं. गंदे तौलिये से नाखूनों में फंगस, जॉक खुजली, एथलीट फुट और मस्से हो सकते हैं.  इससे बचने के लिए, अपने तौलिये को सप्ताह में कम से कम एक बार बदलें या धोएं और सुनिश्चित करें कि यह उपयोग के बाद सूख जाए. इसे जल्दी सूखने में मदद करने के लिए हुक से लटकाने के बजाय तौलिया बार पर फैलाकर लटकाएं. जब आप बीमार हों और अगर आपका घर नमी वाला हो. जैसे गर्मियों के दौरान, तो तौलिये को ज़्यादा बार धोएं.

लूफा को साफ करने का सही तरीका 

लूफा स्क्रबिंग के लिए बहुत बढ़िया होते हैं. लेकिन उनके कोने कीटाणुओं के लिए एकदम सही छिपने की जगह होते हैं. आपको अपने लूफा को हर हफ़्ते पांच मिनट के लिए पतला ब्लीच में भिगोकर और अच्छी तरह धोकर साफ़ करना चाहिए. हालांकि अपने लूफा को शॉवर में रखना सुविधाजनक है. लेकिन इसे हिलाकर किसी ठंडी जगह पर टांग देना ज़्यादा सुरक्षित है जहां यह जल्दी सूख जाएगा .आपको प्राकृतिक लूफा को कम से कम हर 3 से 4 हफ़्ते में और प्लास्टिक वाले को हर 2 महीने में बदलना चाहिए.

 

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