गंगा और यमुना उफान पर, कभी भी खतरे का निशान पार

प्रयागराज : गंगा और यमुना नदियों का जलस्तर खतरे के निशान को पार कर गया है। इसके कारण कछारी इलाकों के साथ शहर के करीब 7 इलाकों के हजारों घरों में बाढ़ का पानी पहुंच गया है। लगभग 200 गांव बाढ़ की चपेट में आ गए हैं। जलस्तर लगातार बढ़ रहा है जिससे स्थिति और गंभीर होती जा रही है। प्रशासन ने राहत और बचाव कार्य तेज कर दिए हैं। एनडीआरएफ, एसडीआरएफ और क्यूआरटी की टीमें बाढ़ प्रभावित इलाकों में पहुंच गई हैं। बचाव कार्य के लिए कई टीमें 24 घंटे तैनात हैं।
बाढ़ प्रभावित इलाकों से सैकड़ों लोग अपने घर छोड़कर सुरक्षित स्थानों पर जाने लगे हैं। प्रशासनिक अधिकारी लगातार हालात का जायजा ले रहे हैं। गंगापार और यमुनापार के दर्जनों गांवों में अलर्ट जारी किया गया है।
सिंचाई विभाग की ताजा बुलेटिन के अनुसार गंगा और यमुना का जलस्तर खतरे के निशान के करीब पहुंच गया है। एक अगस्त की बुलेटिन के अनुसार दोपहर 12 बजे तक नैनी में यमुना का जलस्तर 83.81 मीटर रिकॉर्ड किया गया है। यहां पर खतरे का निशान 84.734 मीटर पर है। इसी तरह फाफामऊ में गंगा का जलस्तर 83.48 मीटर दर्ज किया गया है जो खतरे के बिंदु 84.734 मीटर के काफी नजदीक है। यमुना 27 सेंटीमीटर और गंगा 26 सेंटीमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से बढ़ रही हैं।
रिपोर्टर : जाबिर अली
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