महंगी शराब नहीं खरीदने के कारण स्मैक, गांजा साइकिल के ट्यूब पंचर वाला सुलेशन पी रहें हैं नौनिहाल : अनिल कुमार साहा

सहरसा : अखिल भारतीय वैश्य महासम्मेलन के बिहार प्रदेश के महामंत्री [ संगठन ]सह प्रभारी पूणियॉ , कोशी एवं भागलपुर प्रमंडल के अनिल कुमार साहा ने जानना चाहा क्या नीतीश कुमार की तुगलकी कानून से शराबबंदी से बिहार में शराब बंद हो गया बिहार में कोई भी शराबी इंसान नहीं है उन्होंने जानना चाहा की क्या बिहार सरकार के तुगलकी कानून से शराब माफियाओं या शराब के सिंडिकेट के सदस्य हो गए बिहार में मालोमाल। क्या किन कारणों से शराब पर रोक नहीं लग रहा है क्या शराब बंदी के आड़ में शराब माफियाओं को शराब के सिंडिकेट के सदस्यों को खुली छूट दिया जा रहा है वह नाजायज पैसा कमावे जहरीली शराब बिहार में बेचे अगर ऐसा नहीं है तो आखिर शासन के सारे शक्तियों को लगाने के बाद भी बिहार में शराब बिक्री पर रोक क्यों नहीं लग रहा है ? आज नीतीश कुमार की सरकार में अगर बिहार में किसी को गोली लग रही है कहीं गोली चल रहा है और कहीं कोई शराब के तस्कर शराब लेकर जा रहे हैं तो पुलिस की ओर शासन प्रशासन की पहली प्राथमिकता यह है कि वह पहले शराब के जो तस्कर है माफिया है उसको पकड़े ना की जहां गोली चल रही है उसअपराधी को पकड़े । बिहार के सारे शासन प्रशासन के लोगों को शराब बंदी के पीछे लगा दिया है । बिहार का जनता के हित में यह सर्वोपरि सोच है शराब बंदी एक अच्छी चीज है समाज को सुधारने वाली विषय है, लेकिन इस पर रोक लगाने में अगर बिहार सरकार अक्षम है तो उसे इस बिषय पर पुनर्विचार करना चाहिए। जहां तक मेरी जानकारी है कि आज बिहार में शराबबंदी के वजह से जो युवा वर्ग के लोग हैं जो युवा पीढ़ी के लोग हैं जो सामर्थवान हैं या जो सामर्थवान नहीं हैं बिहार में अवैध रूप से मिल रहे हैं महंगी शराब को नहीं खरीद पाने के कारण स्मैक , गांजा चरस यहां तक सुनने आ रहा है कि साइकिल के ट्यूब पंचर में जो सुलेशन काम आता था उसको गरीब परिवार के बच्चे पॉलिथीन में डाल करके उसका श्वास लेते हैं सेवन करते हैं,और जब उनके पास पैसा नहीं होता है तो वह रोड पर छिनतई का काम करते हैं जिससे बिहार में अपराध का ग्राफ बढ़ा है। यह सर्वमान्य विषय है की शराब पर रोक लगना चाहिए , जब के अभी हमारे देश के सारे जो प्रमुख शहर है खासकर भारत की जो राजधानियां हैं या जो भारत के प्रमुख राज्य हैं वहां धड़ल्ले से शराब बिक रहा है कोई रोक नहीं है सिर्फ समय सीमा की पाबंदी है । नितीश बाबू यह कहने में मुझे कोई गुरेज नहीं है कि शराबबंदी के आड़ में आपके सरकार के संरक्षण में ऐसे कुछ लोग हैं कुछ शराब माफिया है शराब के सिंडिकेट सदस्य हैं जो खुलेआम बिहार मे गाड़ी से ट्रक के ट्रक शराब की खेप को बिहार में लाते हैं और मनमाने कीमत पर पूरे बिहार में शराब को बेचते हैं चाहे वह होम डिलीवरी के मार्फत से हो या किसी भी तरह से हो।आपको यह समझना होगा कि आपसे अगर इस खास समय पर जो हिंदुओं का महापर्व होने जा रहा है आने जा रहा है दुर्गा पूजा से लेकर के छठ तक तथा बिहार का जो महापर्व बिहार विधानसभा चुनाव होने जा रहा है अगर आप बिहार में शराबबंदी पर 100% रोक नहीं लगा सकते हैं तो इस पर आपको विचार करने की जरूरत है । किन वजह या किन कारणों से बिहार में अवैध शराब बिक रहा है । नितीश बाबू आप बिहार के सम्मानित नेता हैं , आप सर्वप्रथम जितनी भी घोषणाएं या कैबिनेट की बैठक या और कोई काम कर रहे हैं मेरे दिमाग से आपका सर्वप्रथम और सर्वोपरि काम यह होना चाहिए कि शराब बंदी 100% कैसे लागू हो और अगर आप नहीं कर पाते हैं तो अविलंब इस पर सारे राजनीतिक दलों के नेताओ पार्टी के नेताओं के साथ मिल बैठकर विचार विमर्श कर कोई ऐसा रास्ता ढूढना चाहिए जिससे बिहार में जो शराब से जो एक्साइज ड्यूटी का पैसा टैक्स का पैसा है जो नहीं आ रहा है, बिहार सरकार की क्षति हो रही है उस विषय पर या शराब बंदी से बिहार के युवाओं पर क्या असर पड़ रहा है बिहार में सारे प्रयास के बाद भी अवैध शराब की बिक्री चाहे वह डोर डिलीवरी के द्वारा हो या किसी भी तरह से हो लेकिन अवैध शराब की बिक्री हो रही है उस पर रोक नहीं लग पा रहा है,इन सारे विषयों पर जो बिहार की जनता के हृदय से जुड़ा मामला है इस पर गहन विचार करने की जरूरतह् है।
रिपोर्टर : अजय कुमार
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