स्थानीय मुख्यालय वार्ड नंबर 6 की प्राथमिक आदिवासी विद्यालय 10 वर्षों से बंद

पवई : नगर परिषद अंतर्गत वार्ड क्रमांक 6 में स्थित प्राथमिक आदिवासी बागरी टोला विद्यालय विगत 10 वर्षों से बंद पड़ा है लगभग 8 से 10 वर्ष पूर्व सर्व शिक्षा अभियान के तहत इस स्कूल की बिल्डिंग स्वीकृत की गई थी बिल्डिंग 12 लाख 50 हजार की लागत से बनाई जानी थी जनपद शिक्षण केंद्र पवई द्वारा निर्माण एजेंसी नगर परिषद पवई को इस कार्य के लिए लगभग समस्त राशि दी जा चुकी है पवई से करही मुख्य मार्ग पर निर्मित बिल्डिंग में प्राथमिक स्कूल शिफ्ट क्यों नहीं किया जा रहा है यह समझ से परे हैं पिछले करीब तीन-चार साल से बिल्डिंग के ईद गिर्द खरपतवार जंगल हो जाने के से यह खंडहर में तब्दील हो रही है यह विद्यालय विशेष रूप से आदिवासी बच्चों की शिक्षा के लिए आरक्षित था,परंतु शिक्षा विभाग एवं नगर पंचायत की आपसी लापरवाही के कारण यह विद्यालय आज भी प्रारंभ नहीं हो पाया है हालांकि समय-समय पर इस विद्यालय को पुनः चालू करने के लिए कलेक्टर कार्यालय द्वारा आदेश जारी किए गए, किंतु दुर्भाग्यवश उन आदेशों की आज तक अवहेलना हो रही है विद्यालय की बिल्डिंग अब धीरे-धीरे खंडहर में तब्दील हो रही है भवन रखरखाव के अभाव में बच्चों के लिए यह स्थान अब असुरक्षित हो चुका है शिक्षा का अधिकार अधिनियम (RTE Act) के अंतर्गत 6 से 14 वर्ष के बच्चों को निशुल्क एवं अनिवार्य शिक्षा का अधिकार है,परंतु यहां आदिवासी समुदाय के बच्चों को इसका लाभ नहीं मिल पा रहा स्कूल पिछले 10 वर्षों से बंद पड़ा है कलेक्टर द्वारा दिए गए आदेशों की पालन नहीं हो रहा भवन जर्जर हो चुका है,सुरक्षा की दृष्टि से भी खतरनाक शिक्षा विभाग और नगर परिषद की आपसी जिम्मेदारियों में उलझा मामला आदिवासी समुदाय के बच्चों का शैक्षणिक भविष्य खतरे में  नगर वार्ड वासियों का कहना है संबंधित अधिकारियों को इस मुद्दे को तत्काल संज्ञान में लें और विद्यालय को पुनः प्रारंभ कराने की प्रक्रिया जल्द शुरू की जाए साथ ही, जिम्मेदार अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई भी सुनिश्चित की जाए जिन्होंने कलेक्टर के आदेशों का पालन नहीं किया।

रिपोर्टर : सुरेश कुमार द्विवेदी 

 

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